पटना। मोकामा के पूर्व विधायक अनंत सिंह पर फायरिंग की घटना ने पूरे इलाके में सनसनी फैला दी है। यह घटना बुधवार को पटना जिले के बाढ़ अनुमंडल के नौरंगा-जलालपुर गांव में हुई। पूर्व विधायक अपने विधानसभा क्षेत्र के दौरे पर थे, जब अचानक उन पर हमला किया गया। राहत की बात यह है कि इस गोलीबारी में अनंत सिंह और उनके समर्थक सुरक्षित हैं।
घटना को लेकर स्थानीय लोगों का कहना है कि अनंत सिंह अपने काफिले के साथ गांव में थे, तभी अपराधियों ने उन पर फायरिंग शुरू कर दी। जवाब में उनके समर्थकों ने भी गोलियां चलाईं। बताया जा रहा है कि दोनों पक्षों के बीच करीब 60-70 राउंड गोलियां चलीं। पुलिस ने घटनास्थल से खोखे बरामद किए हैं और इस हमले के लिए कुख्यात सोनू-मोनू गिरोह को जिम्मेदार ठहराया है।
पुलिस सूत्रों के मुताबिक सोनू-मोनू गैंग ने मोकामा, बख्तियारपुर समेत करीब दर्जन भर थाना क्षेत्रों में अपराधों को अंजाम दिया है और इन सभी क्षेत्रों में इनकी खूब दहशत है. मोकामा के बाहुबली और पूर्व विधायक अनंत सिंह पर हमला करने वाले सोनू-मोनू कभी उनके ही शार्गिद हुआ करते थे.
पुलिस की जांच जारी, इलाके में भारी सुरक्षा तैनात
घटना की जानकारी मिलते ही बाढ़ के डीएसपी राकेश कुमार घटनास्थल पर पहुंचे। उन्होंने बताया कि इस गोलीबारी में पूर्व विधायक अनंत सिंह बाल-बाल बच गए हैं। वर्तमान में पूरे इलाके को पुलिस छावनी में तब्दील कर दिया गया है और अपराधियों की गिरफ्तारी के लिए छापेमारी अभियान चलाया जा रहा है।
अनंत सिंह का आपराधिक इतिहास
गौरतलब है कि अनंत सिंह पर पहले भी कई गंभीर आरोप लग चुके हैं। एके-47 रखने के मामले में उन्हें दोषी ठहराया गया था और वे करीब पांच साल तक पटना के बेउर जेल में बंद रहे। इस दौरान उन्हें 10 साल की सजा सुनाई गई थी, जिससे उनकी विधायकी भी चली गई। हालांकि, 2024 में पटना हाईकोर्ट ने उन्हें इस मामले में बरी कर दिया, और 14 अगस्त 2024 को वे जेल से रिहा हुए।
इलाके में तनाव का माहौल
घटना के बाद गांव में तनाव का माहौल है। पुलिस की टीम लगातार अपराधियों की तलाश में जुटी है। स्थानीय प्रशासन ने क्षेत्र में सुरक्षा बढ़ा दी है ताकि किसी अप्रिय घटना से बचा जा सके। इस घटना ने बिहार में राजनीति और अपराध के बीच की कड़ी को एक बार फिर से उजागर कर दिया है। मामले की जांच जारी है और पुलिस अपराधियों को पकड़ने के लिए हर संभव प्रयास कर रही है।